Delhi Bar Elections  
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दिल्ली बार निकायों के लिए 'एक सदस्य एक पद' नियम को चुनौती देने वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने नोटिस जारी किया

दिल्ली उच्च न्यायालय ने फैसला दिया था कि दिल्ली की सभी बार एसोसिएशनों के चुनाव एक साथ होने चाहिए तथा कोई भी वकील विभिन्न बार निकायों में दो पदों के लिए चुनाव नहीं लड़ सकता या दो पदों पर नहीं रह सकता।

Bar & Bench

सर्वोच्च न्यायालय ने हाल ही में दिल्ली बार काउंसिल और राष्ट्रीय राजधानी के विभिन्न बार एसोसिएशनों से उस याचिका पर जवाब मांगा है जिसमें उस निर्देश को चुनौती दी गई है जिसमें कहा गया है कि बार चुनावों में किसी भी उम्मीदवार को एक साथ दो पदों के लिए चुनाव लड़ने की अनुमति नहीं दी जाएगी। (डी.के. शर्मा एवं अन्य बनाम दिल्ली बार काउंसिल एवं अन्य)

न्यायमूर्ति बी.आर. गवई और न्यायमूर्ति के.वी. विश्वनाथन की पीठ ने मामले की अगली सुनवाई 9 सितंबर के लिए निर्धारित की है।

Justice BR Gavai and Justice KV Viswanathan

अपीलकर्ताओं की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता सुशील कुमार जैन, अधिवक्ता सैयद मेहदी इमाम, अंकुर शर्मा, अभिनव शर्मा, एसआई वशिष्ठ और कैलाश वासुदेव उपस्थित हुए।

अधिवक्ता अजय कुमार अग्रवाल, राजीव रंजन द्विवेदी और पीयूष बेरीवाल दिल्ली बार काउंसिल की ओर से उपस्थित हुए।

दिल्ली उच्च न्यायालय ने इस वर्ष 19 मार्च को फैसला सुनाया था कि राष्ट्रीय राजधानी में सभी बार एसोसिएशनों के चुनाव एक साथ और एक ही दिन होने चाहिए।

इसमें कई निर्देश दिए गए थे, जिसमें यह भी कहा गया था कि बार चुनावों में धन की भूमिका को रोकने और चुनाव प्रक्रिया की शुद्धता सुनिश्चित करने के लिए कोई भी चुनावी पार्टी आयोजित नहीं की जानी चाहिए और कोई होर्डिंग नहीं लगाई जानी चाहिए।

वर्तमान अपील उस फैसले में दिए गए निम्नलिखित निर्देश तक सीमित है:

"किसी भी बार एसोसिएशन या निकाय, जैसे कि दिल्ली बार काउंसिल या बार काउंसिल ऑफ इंडिया का कोई भी सदस्य दो अलग-अलग बार एसोसिएशन/निकायों में एक साथ चुनाव नहीं लड़ेगा या पद नहीं संभालेगा।"

हाईकोर्ट ने यह फैसला सभी बार एसोसिएशनों के लिए एक ही दिन एक समान चुनाव कराने से संबंधित याचिकाओं का निपटारा करते हुए सुनाया।

अगस्त 2023 में हाईकोर्ट ने इस संबंध में जस्टिस संजीव सचदेवा की अध्यक्षता में एक कमेटी गठित की थी।

[आदेश पढ़ें]

DK_Sharma_and_ors_v_Bar_Council_of_Delhi_and_ors.pdf
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Supreme Court issues notice in plea challenging 'one member one post' rule for Delhi bar bodies