दिल्ली उच्च न्यायालय ने सांसद एवं वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल के खिलाफ पत्रकार बरखा दत्त द्वारा प्रस्तुत आपराधिक परिवाद को सांसद-विधायक विशेष अदालत मे स्थानांतरण की मांग वाले परिवाद मे नोटिस जारी किए।
न्यायमूर्ति अनूप जे भंभानी की एकल पीठ ने यह मामला स्थानांतरित करने की याचिका पर बरखा दत्त को नोटिस जारी किए। यह याचिका पटियाला हाउस अदालत के जिला एवं सत्र न्यायाधीश द्वारा दायर कायार्लय नोट के बाद विचार के लिये आयी थी।
बरखा दत्त ने पिछले साल कपिल सिब्बल, प्रोमिला सिब्बल और उनकी टीवी नेटवर्क कंपनी एनलॉग मीडिया के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 420 एवं धारा 120बी के तहत कथित अपराध के बारे में दायर की थी।
यह शिकायत एनलॉग मीडिया के तिरंगा टीवी, न्यूज चैनल के अचानक ही बंद हो जाने की परिणति थी।
इस न्यूज चैनल के लिये बरखा दत्त को कंसल्टिंग एडिटर और ऐंकर के रूप में लिया गया था। दत्त का दावा है कि इस चैनल को पेशेवर तरीके से चलाने की कोई मंशा ही नहीं थी।
दत्त ने दावा किया कि इस चैनल का मकसद 2019 क चुनावों तक कांग्रेस पार्टी के प्रचार तंत्र के हिस्से के रूप में काम करना था।
‘‘एक बार प्रयास विफल हो गया तो शिकायतकर्ता सहित कर्मचारियों को दिये गये तमाम आश्वासनों को धता बताते हुये निकाल दिया गया।’’
दत्त ने अपनी शिकायत में 2019 के आम चुनाव के बाद भी चैनल चलाने की व्यावहारिकता के बारे में करार के प्रति दायित्वों और उसे दिये गये आश्वासन के हनन का आरोप लगाया है।
यह शिकायत पटियाला हाउस अदालत में मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट के समक्ष दायर की गयी थी लेकिन बाद में इसे राउज एवेन्यू स्थित सांसद-विधायकों के मुकदमों की सुनवाई करने वाली विशेष अदालत को स्थानांतरित करने के लिये एक आवेदन दाखिल किया गया।
इस आवेदन के आलोक में ही पटियाला हाउस अदालत के जिला एवं सत्र न्यायाधीश ने उचित आदेश के लिये एक कार्यालय नोट उच्च न्यायालय भेजा था।
यह शिकायत अभी सम्मन जारी करने से पहले के चरण में है। यह शिकायत अधिवक्ता राघव अवस्थी और मुकेश शर्मा के माध्यम से दायर की गयी थी।
इस मामले में अब 2 नवंबर को सुनवाई होगी।
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